साक्षरता मिशन में राहतगढ़ में पति-पत्नि ने परीक्षा में शामिल"
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सागरI राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के अध्याय 21 के प्रावधानों के अनुसार सागर जिले में साक्षरता दर बढ़ाने हेतु 15 वर्ष से अधिक आयुवर्ग के असाक्षरों को नवसाक्षर करने हेतु पूरे भारत में एक साथ 16 फरवरी 2025 को सामाजिक चेतना केन्द्र पर “मूलभूत साक्षरता एवं संख्यात्मकता मूल्यांकन परीक्षा” का आयोजन किया गयां। इस तारतम्य में सागर जिले के 1654 केन्द्रों पर लगभग 16658 असाक्षरों ने परीक्षा में सहभागिता की।

शासकीय माध्यमिक शाला मैहर विकासखण्ड-राहतगढ़ जिला सागर में पति-पत्नि घनश्याम गौड़ 42 वर्ष व मचला गौड़ 40वर्ष ने शिक्षा की मूल धारा से जुड़ने के लिए एक साथ उल्लास नव भारत साक्षरता मूल्यांकन परीक्षा दी गई।

सभी नवसाक्षरों ने बड़े उत्साहित होकर साक्षरता मूल्यांकन परीक्षा में सम्मिलित हुए। नवभारत साक्षरता के परीक्षार्थियों की उपस्थिति, सामाजिक चेतना केन्द्रों पर अक्षरसाथियों के अथक परिश्रम पूर्ण हुई। परीक्षा के निर्देशों का पालन करते हुए शाला के शिक्षकों ने समय सीमा में मूल्यांकन कार्य किया।

उल्लास नवभारत साक्षरता अभियान अंतर्गत 2027 तक सागर जिले को पूर्ण साक्षर बनाने के लिये कलेक्टर द्वारा जिले में मूल्यांकन / परीक्षा केन्द्र की मॉनीटरिंग गठित टीम से करवायी गई जिसमें मुख्यतः अरविन्द जैन (जिला शिक्षा अधिकारी सागर,), डॉ. गिरीश मिश्रा (डीपीसी सागर), डॉ रमाकांत मिश्रा (प्राचार्य शास. कृषि उमावि सुरखी) प्रशांत तिवारी (जिला प्रौढ़ शिक्षा अधिकारी) व समस्त विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी व बीआरसी, विकासखंड सह समन्वयकों के साथ संकुल सह समन्वयक साक्षरता का भी विशेष मार्गदर्शन व सहयोग से ही यह “मूलभूत साक्षरता एवं संख्यात्मकता मूल्यांकन परीक्षा” सफल रही हैं। नवसाक्षरों को केन्द्र तक पहुँचाने व परीक्षा में सम्मिलित होने के लिए समस्त अक्षर साथियों की विशेष भूमिका रही।


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