केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय ने सभी केंद्रीय सरकारी अस्पतालों में सुरक्षा बढ़ाने के लिए केंद्र सरकार के अस्पतालों/संस्थानों,AIIMS/INI के प्रमुखों को पत्र लिखा है। इस पत्र में मंत्रालय ने प्रवेश, निकासी, गलियारे तथा संवेदनशील क्षेत्रों सहित प्रमुख स्थानों पर पर्याप्त संख्या में सीसीटीवी कैमरे लगाने के निर्देश दिए हैं।
आपातकालीन स्थितियों में तत्काल प्रतिक्रिया के सुझाव
आपात स्थितियों में तत्काल प्रतिक्रिया के लिए एक नियंत्रण कक्ष भी स्थापित करने को कहा गया है। पत्र में यह भी कहा गया है कि उचित निगरानी, गश्ती और अस्पताल परिसरों की निगरानी के लिए पर्याप्त संख्या में सुप्रशिक्षित सुरक्षा गार्ड की तैनाती की जानी चाहिए।
मंत्रालय ने बताया कि अधिकृत कर्मचारियों को प्रवेश और निकास द्वार पर कड़ी निगरानी के बाद अनुमति दी जानी चाहिए। ड्यूटी के दौरान अस्पताल के सभी कर्मचारियों के लिए पहचान पत्र दिखाए जाने को अनिवार्य किया जाना चाहिए। सभी आगंतुकों की निगरानी के लिए पर्याप्त प्रबंध किए जाने चाहिए। सभी अस्पताल परिसरों में स्वास्थ्य सेवा कर्मचारियों के विरूद्ध हिंसा रोकने के लिए राज्यों को सजा का प्रावधान करने को भी कहा गया है।
इसके अतिरिक्त डॉक्टर, नर्स और प्रशासनिक कर्मचारी सहित अस्पताल के सभी कर्मचारियों को सुरक्षा खतरों को पहचान कर उससे निपटने के लिए प्रशिक्षित किया जाना चाहिए। उन्हें आपातकालीन स्थिति से निपटने के लिए पर्याप्त कौशल से अवगत कराया जाना चाहिए। परिसर के अंधेरे स्थानों की निगरानी की जानी चाहिए तथा विशेष रूप से महिला स्वास्थ्य सेवा कर्मियों के कार्य क्षेत्रों, पार्किंग क्षेत्र और प्रवेश द्वार पर उचित प्रकाश व्यवस्था की जानी चाहिए। अस्पताल के अधिकारियों को स्थानीय पुलिस और आपातकालीन सेवाओं के साथ घटना की स्थिति में सघन समन्वय सुनिश्चित करना चाहिए।
बुनियादी सुविधाओं के साथ पर्याप्त संख्या में सुरक्षित ड्यूटी कक्ष महिला स्वास्थ्य पेशेवरों को दिया जाना चाहिए। रात में दो महिला स्वास्थ्य पेशेवरों को तैनात करने को प्राथमिकता दी जानी चाहिए। महिला पेशेवरों को ड्यूटी के दौरान परिसरों में रक्षक दल की सुविधा दी जानी चाहिए। रात में महिला पेशेवरों की किसी प्रकार की आवाजाही के लिए सुरक्षित यातायात का प्रबंध किया जाना चाहिए। स्वास्थ्य मंत्रालय ने विभिन्न प्रकार की आपातकालीन स्थितियों से निपटने के लिए व्यापक योजना की रूपरेखा तैयार करने की भी सलाह दी है।